पर्यावरण की रक्षा के लिए दुनिया एकजुट होने लगी है

लंदन में बच्चों के भविष्य को सुरक्षित बनाने के लिए माताओं ने पर्यावरण की सुरक्षा के उद्देश्य से प्रदर्शन करना शुरू कर दिया है। फलस्वरूप दुनिया के लगभग 100 देशों ने कार फ्री डे उत्सव के रूप में मनाया। लगभग 200 सड़कों पर ट्रैफिक बंद रहा। जर्मनी और फ्रांस में लोग साइकिल पर दिखे तथा पुर्तगाल में सड़कों पर मैराथन रेस का आयोजन किया गया। कहीं-कहीं सड़कों पर योग की कक्षाएं भी आयोजित की गई।

बता दें कि वर्ष 1973 में कार फ्री डे की पहल तब हुई थी जब तेल पर संकट छाया था। परंतु वर्ष 2000 में यह वैश्विक आयोजन का रूप लेने लगा। वर्ल्ड कार फ्री नेटवर्क द्वारा इसकी शुरुआत की गई। आयोजकों का दावा है कि लगभग 1500 शहर इस साल से जुड़ चुके हैं। यूं तो रविवार यानी (22 सितंबर कार फ्री डे) को दुनिया के 100 से ज्यादा देशों के 1500 से ज्यादा शहरों में गाड़ियां चलना बंद रही…. लोग सड़कों पर लंच लेते व आराम करते नजर आए। कहीं-कहीं तो लोग सड़कों पर योग करते भी देखे गए।

यह भी बता देना उचित होगा कि लंदन में यह सबसे बड़ा कार फ्री डे माना गया क्योंकि वहां 200 से ज्यादा रास्तों पर ट्रैफिक पूरी तरह बंद रहा। सेंट्रल लंदन में भी वाहन बंद रहे। वहां के मेयर सादिक खान दिनभर साइकिल से पूरे शहर में घूमते नजर आए। टावरब्रिज पर “योग सेशन” रखा गया था। शॉपिंग सेंटर पर लोगों द्वारा पैदल चलकर खरीदारी करते देखा गया।

चलते-चलते यह भी बता दें कि फ्रांस की राजधानी पेरिस में चौथी बार कार फ्री डे का आयोजन हुआ। हाँ, कहीं-कहीं बुजुर्गों के लिए मोबिलिटी स्कूटर की छूट दी गई। बर्लीन में बुजुर्ग महिलाएं साइकिल को फूल और बैलून से सजाकर निकली। और तो और….. इसके अलावे भारत, चीन, जापान, इराक आदि में भी बड़ी संख्या में लोग इसमें शामिल हुए।

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