Cricket Match on the occasion of 115th birth anniversary on Major Dhyanchand at BN Mandal Stadium, Madhepura .

हॉकी सम्राट ध्यानचंद की जयंती पर क्रिकेट एवं अन्य खिलाड़ियों को किया गया पुरस्कृत

आज बीपी मंडल इंडोर स्टेडियम में हॉकी के जादूगर मेजर ध्यानचंद के 115वीं जन्म जयंती पर मधेपुरा नेहरू युवा केन्द्र द्वारा खेलकूद से संबंधित कार्यक्रमों का आयोजन जिला खेल पदाधिकारी सच्चिदानंद, एनवाइसी समन्वयक अजय कुमार गुप्ता एवं जिला कबड्डी संघ के सचिव अरुण कुमार के संयुक्त नेतृत्व में किया गया। सर्वप्रथम प्रधानमंत्री द्वारा स्वच्छ भारत के बाद ‘स्वस्थ भारत अभियान’ के तहत राष्ट्रीय खेल दिवस पर देश के खिलाड़ियों एवं नर-नारियों के लिए दिये गये प्रसारण “फिट होगा इंडिया तो हिट होगा इंडिया” को सबों ने सुना।

Dr.Madhepuri addressing players at BP Mandal Indoor Stadium.
Dr.Madhepuri addressing players at BP Mandal Indoor Stadium.

बता दें कि खिलाड़ियों को मेजर ध्यानचंद की जयंती पर सम्मानित करते हुए मुख्य अतिथि के रुप में समाजसेवी साहित्यकार डॉ.भूपेन्द्र नारायण मधेपुरी ने कहा कि जब देश गुलाम था तब हाॅकी के इस जादूगर ध्यानचंद ने 4 वर्षों पर होने वाले ओलंपिक खेल में वर्ष 1928, 1932 एवं 1936 में गोल्ड मेडल जीतकर भारत को हॉकी विश्व गुरु का सम्मान दिलाया था। डॉ.मधेपुरी ने खेद प्रकट करते हुए कहा कि यह कितनी बड़ी विडंबना है कि जिसने भारत को दुनिया में गौरवान्वित किया, भारत के उस रत्न को आज तक भारतरत्न सरीखे सम्मान से वंचित रखा जा रहा है…… क्या यही समुचित न्याय है ?

इस अवसर पर भौतिकी के विद्वान डॉ.मधेपुरी ने भौतिकी के प्रोफेसर व वैज्ञानिक डॉ.होमी जहांगीर भाभा को संदर्भित करते हुए अवरुद्ध कंठ से कहा कि जिस भाभा ने एशिया का पहला परमाणु अनुसंधान केंद्र स्थापित कर भारत को “परमाणु युग” के शीर्ष तक ले गया….. तथा फादर ऑफ न्यूक्लियर पावर कहलाने वाला वह वैज्ञानिक डॉ.भाभा “Atom for Peace” के अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन की अध्यक्षता करने हेतु जेनेवा जाने के क्रम में 24 जनवरी 1966 को कालकलवित हो गया…… आजतक भारत के वैसे रत्न को भी भारतरत्न हम सबों का भारत नहीं दे सका, जिसके लिए उन्होंने सर्वस्व निछावर कर दिया।

चलते-चलते यह भी बता दें कि आज ध्यानचंद जयंती पर बीपी मंडल स्टेडियम में मधेपुरा एवं खगड़िया जिला क्रिकेट टीमों के बीच एकदिवसीय मैच का शुभारंभ अध्यक्ष मुन्ना बाबू, जिला खेलकूद पदाधिकारी ध्यानी यादव, संतोष कुमार झा, अरुण कुमार आदि द्वारा किया गया जिसमें जीत मधेपुरा टीम की हुई। डॉ.मधेपुरी ने दोनों टीमों के खिलाड़ियों से यही कहा-

न हारना और….. न जीतना जरूरी है।

जीवन खुद खेल है, खेलना जरूरी है।।

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