Dr.Bhupendra Madhepuri addressing on the occasion of Hindi Diwas.

कौशिकी के सचिव द्वारा ऑनलाइन हिन्दी दिवस मनाया गया

कोरोना के चलते विगत दो वर्षों के लगभग से सभी शिक्षण संस्थाएं बंद ही रही। सिनेमाघर, माॅल, पार्क, स्टेडियम… आदि में भी ताले बंद रहे। कौशिकी क्षेत्र हिन्दी साहित्य सम्मेलन का कार्यक्रम भी ठप्प रहा। यदा-कदा वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए कार्यक्रम आयोजित किया गया। अब तीसरी लहर की आशंका भी व्याप्त होने लगी है।

उसी क्रम में आज 14 सितंबर को ‘हिन्दी दिवस’ के अवसर पर कौशिकी के सचिव डॉ.भूपेन्द्र नारायण यादव मधेपुरी द्वारा ऑनलाइन कार्यक्रम में कहा गया-

भारत माता के माथे की बिन्दी है हिन्दी। खुशी की बात यह है कि अब गूगल द्वारा हिन्दी के तेजी से आगे बढ़ने का संकेत मिलने लगा है। हमारी संस्कृति और सभ्यता को दिनानुदिन ताकत दे रही है हिन्दी। विश्व की समृद्ध भाषाओं में एक है हिन्दी।

यह भी जानिए कि जहां अंग्रेजी A for Apple से शुरू यानि फल से शुरू होकर Z for Zebra यानि जानवर बना कर छोड़ती है, वहीं हिन्दी अ यानि अनपढ़ से शुरू होती है और ज्ञ से ज्ञानी बनाकर छोड़ती है- यही है हमारी “भारतीय संस्कृति”। इसे हम सभी मिलकर ताकत दें। हिन्दी को आगे बढ़ाएं और देश की एकता एवं अखंडता को बरकरार रखें। हम ज्ञानी बनें… स्वाभिमानी बनें। हम हिन्दी बनें… हिंदुस्तानी बनें।

 

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