Dr.Mahavir Pratibh Peeth Inauguration at BNMV.Commerce College Madhepura.

कुलपति ने बीएनएमवी कॉलेज में डॉ.एम.पी.यादव प्रातिभ पीठ का किया उद्घाटन

भूपेन्द्र नारायण मंडल विश्वविद्यालय के अंतर्गत अंगीभूत इकाई भूपेन्द्र नारायण मंडल वाणिज्य महाविद्यालय, बालमुकुंद नगर, साहूगढ़, मधेपुरा के परिसर में विधायक, शिक्षामंत्री, सांसद एवं प्रति कुलपति, कुलपति रह चुके टीपी कॉलेज के विश्वकर्मा कहे जाने वाले डॉ.महावीर प्रसाद यादव के नाम वाले प्रातिभ पीठ का उद्घाटन माननीय कुलपति प्रो.(डॉ.)आरकेपी रमण ने किया।

कुलपति डॉ.रमण ने अपने संबोधन में विस्तार से अनेकानेक संस्करणों के माध्यम से उन्हें स्मरण करते हुए कहा कि डॉ.महावीर प्रसाद यादव बिहार के सर्वपल्ली राधाकृष्णण हैं… वर्तमान शैक्षिक माहौल को रास्ते पर लाने में उनके विचारों को आत्मसात करने की आवश्यकता है। वे प्राय: विद्यार्थियों को नाम से ही पुकारते थे।

मुख्य अतिथि के रूप में प्रति कुलपति प्रो.आभा सिंह ने कहा कि मेरे परिवार में अक्सर महावीर बाबू की चर्चा होती रहने के कारण ही जान पाई कि टीपी कॉलेज को राज्य का सर्वोत्तम शैक्षिक संस्थान बनाने में उनका अहम योगदान रहा है। वे प्रखर शिक्षाविद, कुशल प्रशासक के साथ-साथ टीपी कॉलेज के विश्वकर्मा भी कहे जाते रहे। उनके विचारों को फैलाव देने की आवश्यकता है।

Samajsevi Shikshavid Dr.Bhupendra Madhepuri addressing on the occasion of Dr.Mahavir Pratibh Peeth Inauguration at Bhupendra Narayan Mandal Commerce College, Madhepura.
Samajsevi Shikshavid Dr.Bhupendra Madhepuri addressing on the occasion of Dr.Mahavir Pratibh Peeth Inauguration at Bhupendra Narayan Mandal Commerce College, Madhepura.

विशिष्ट अतिथि के तौर पर सभा को संबोधित करते हुए समाजसेवी-साहित्यकार एवं इस कॉलेज के शुभारंभकर्ता डॉ.भूपेन्द्र नारायण यादव मधेपुरी ने उनके साथ बिताए सड़क से संसद तक के संस्मरणों को विस्तार से सुनाते हुए कहा कि वे नि:संकोच होकर एक नहीं अनेक बार यह कहा करते-

“भूपेन्द्र ! मैं तो अपने गांव थरभिट्टा से राई बनकर आया था, मधेपुरा ने मुझे पहाड़ बना दिया… क्या नहीं दिया मधेपुरा ने। अंतिम सांस तक मधेपुरा का ॠण उतारता रहूंगा।”

डॉ.मधेपुरी ने कहा कि उनके चारों पुत्र एमओ रहे इंदु भूषण, प्रो.(डॉ.)अरुण कुमार, डीएसपी रहे मनोज कुमार और एनटीपीसी से अवकाश प्राप्त उमेश कुमार अपने पिता के प्रति समर्पित रहे हैं, परंतु श्रवण कुमार की भूमिका का सौ फिसदी निर्वहन बीएन मंडल के स्नातकोत्तर जंतु विभागाध्यक्ष प्रो.(डॉ.)अरुण कुमार को करते हुए देखा जा रहा है…।

विशिष्ट अतिथि के रुप में कुलसचिव प्रो.डॉ.मिहिर कुमार ठाकुर, सीनेटर व बीएन मुस्टा के महासचिव प्रो.(डॉ.)नरेश कुमार, कुलानुशासक डॉ.बीएन विवेका, बीएनएमवी के पूर्व प्रधानाचार्य डॉ.अरुण कुमार एवं विकास पदाधिकारी डॉ.ललन अद्री द्वारा संबोधन में कहे गए कथनानुसार किसी को नियुक्ति पत्र डॉ.महावीर बाबू के कुलपति कार्यकाल में उनके हाथों प्राप्त हुआ तो किसी-किसी को उनके बीएनएमवी में शासी निकाय के सचिव के रूप में हस्तगत कराया गया। सबों ने अपनी बातें विस्तार से बताते हुए कहा कि यहां हर किसी को उनके बारे में कुछ कहने के लिए है, यही उनका बड़प्पन है।

कार्यक्रम को सीनेटर एवं जंतु विभागाध्यक्ष डॉ.अरविंद कुमार, डॉ.शेफालिका शेखर सहित कई गणमान्यों ने उनके विभिन्न गुणों की चर्चा करते हुए श्रद्धांजलि दी।

अपने अध्यक्षीय संबोधन में  प्रधानाचार्य प्रो.(डॉ.)पीएन पीयूष ने स्वागताध्यक्ष की भूमिका में आगत अतिथियों के भरपूर स्वागत से मौसम बदल दिया। और जो शेष बचा उसे विश्वविद्यालय पुस्तकालयाध्यक्ष एवं अंतर्राष्ट्रीय उद्घोषक पृथ्वीराज यदुवंशी ने अपनी कलात्मक शैली के माध्यम से पूरा करने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ा।

आरंभ में संगीत शिक्षिका शशि प्रभा जायसवाल की पूरी टीम ने स्वागत गीत गाया। बाद में आयोजन समिति, प्रधानाचार्य व एनएसएस इकाई की ओर से अतिथियों को अंगवस्त्रम, बुके, मोमेंटो से सम्मानित किया गया। अंत में अर्थपाल डॉ.नवीन कुमार सिंह ने धन्यवाद ज्ञापित किया।

 

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