दो दिवसीय दिल्ली प्रवास के दरमियान सीएम नीतीश कुमार ने गुरुवार को पीएम नरेंद्र मोदी एवं उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू से भेंट की। बता दें कि नमो से नीतीश की यह शिष्टाचार भेंट संसद भवन स्थित प्रधानमंत्री कक्ष में हुई।
जानिए कि प्रधानमंत्री नमो से मिलकर लौटने के दरमियान संवाददाताओं से हुई बातचीत में मुख्यमंत्री नीतीश ने यही कहा कि विधानसभा चुनाव के बाद से वे दिल्ली नहीं आए थे। इसलिए प्रधानमंत्री से मिलने आए। इस मुलाकात में देश से जुड़े विभिन्न मसलों पर चर्चा हुई, परंतु बिहार के निमित्त किसी मांग पर नहीं हुई चर्चा।
इस दरमियान दोनों दिग्गजों के बीच पर्यावरण, कृषि व शिक्षा से लेकर अन्य विषयों पर भी जमकर चर्चाएं हुई। अन्य सवालों के जवाब में नीतीश कुमार ने कहा कि जदयू के केंद्रीय कैबिनेट में शामिल होने पर चर्चा नहीं हुई बल्कि इतना ही कहा कि हम लोग तो साथ में हैं ही। यह भी कि जदयू के पश्चिम बंगाल में चुनाव लड़ने के संबंध में कोई अंतिम निर्णय नहीं हुआ है।
नीतीश ने नमो से कहा कि हम रोजगार के अवसर बढ़ाने में जुटे हैं….। बिहार में विकास हो रहा है। हर घर में बिजली और नल से जल की आपूर्ति की जा रही है। परंतु, विपक्ष अपनी पब्लिसिटी के लिए अनाप-शनाप गलत बयानबाजी कर रहा है। हाँ, बिहार को विशेष दर्जा दिए जाने को नीतीश ने अपनी पुरानी मांग बताई। पटना विश्वविद्यालय को केंद्रीय विश्वविद्यालय बनाने की भरपूर पहल की। पीएमसीएच को भारत का सर्वश्रेष्ठ व विश्वस्तरीय अस्पताल बनाने की जानकारी पीएम को दी। नीतीश ने कहा कि बिहार में जुनून के साथ काम हो रहा है और रोजगार के अवसर भी लगातार तलाशे जा रहे हैं।
चलते-चलते यह भी जाने कि सड़क एवं कई अन्य संस्थाओं के विकास में केंद्र की भूमिका को लेकर सीएम नीतीश ने गृह मंत्री अमित शाह से भी मिलकर बातें की। उस समय भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा भी मौजूद थे।